बल्ब का आविष्कार किसने किया (Bulb ka avishkar kisne kiya)

मित्रों अगर आपको केवल येही जानना है की Bulb ka avishkar kisne kiya? तो आपको यह जानकारी कहीं पर भी प्राप्त हो जायेगा परन्तु इसके पीछे की कहानी बड़ा ही रोचक है, आपको यह अवश्य जानना चाहिए, क्योंकि अधूरी जानकारी मस्तिस्क केलिए हानिकारक होता है, इसलिए आपसे निवेदन है की इस लेख को ध्यान पूर्वक पढ़ें.

नमस्कार बंधुगण मेरा नाम है विस्वनाथ धिन्दा और मैं एक पेशेवर ब्लॉगर हूँ, मेने कई वेबसाइट बनाये है जहाँ पर अलग अलग भाषा में लोगों तक जानकारी पहूंचाया जाता है, और यह वेबसाइट Legjobb Tippek को हमने सभी केलिए निशुल्क बनाया है और इसके बारे अधिकतर लोगों को ज्ञात है, इस वेबसाइट में हमने उन जन्करिओं को साझा करने का प्रयाश करते है जिसके बारे में अधितर लोग नही जानते, तो आपसे निवेदन है की यदि हमारा लेख आपको पसंद अत है तो इसे और भी लोगों तक पहुँचाने में हमारा सहायता करें.

Bulb ka avishkar kisne kiya tha?

चलिए सबसे पहेले जान लेते है की बल्ब का आविष्कार किसने किया उसके पश्च्यात हम बात करेंगे इसके पीछे छुपी कहानी के बारे में, तो अगर आपके मन में भी यह प्रश्न है की बल्ब का आविष्कार किसने किया था तो इसका सही उत्तर है  बल्ब का आविष्कार सन १८७९ में थॉमस ऐल्वा एडीसन (Thomas Edison) के द्वारा किया गया था, यह उस समय महान बेग्यनिकों में से एक थे जिनको लोग पागल और सनकी समझते थे, परन्तु Thomas Edison ने लोगों के बातो का ध्यान न देते हुए अपने लक्ष्य को पाने केलिए कर्म करते रहे और पुरे बिश्व में प्रसिद्ध हुए.

बल्ब का आविष्कार किसने किया
बल्ब का आविष्कार किसने किया

बल्ब का आविष्कार की काहानी!

अब यह तो आपने जाना की बल्ब का अबिष्कार थॉमस ऐल्वा एडीसन (Thomas Edison) ने किआ था परन्तु सचाई कुछ और ही है इतिहास किसीको भी अधोरा नही छोडती है, बिद्युत तरंगों का उपयोग करके रौशनी उत्पन करने का बिचार सबसे पहेले English Chemist Humphrey Davy को सुझा था, इश बात को लगभग 200 वर्ष या इससे भी अधिक समय बीत चुके है.

Chemist Humphrey Davy ने ही यह दिखाया था की जब विद्युत् तरंगों को किसी तार से गुजरा जाता है तो यह गरम हो कर रौशनी उत्पन करती है, अब समस्या यह था की अगर सीधी तरीके से विदुयुत तरंग के दोनों तार मतलब (+) और (-) को जोड़ दिया जाये तो यह बहुत बड़ी बिस्फोटक बन जाता है, और इससे रोशनी उत्पन करना लगभग नामुमकिन था.

इसीलिए बहुत सारे बेग्यनिकों ने इलेक्ट्रिसिटी का उपयोग कर केसे उससे रौशनी उत्पन किआ जाये इसके बारे में खोज करने लगे किन्तु इनमे से कोई भी सफल नही हो पाया, कई सारे डिजाईन बनाये गये परन्तु उनमे बहुत सारे त्रुटी थी जिस कारण बल्ब बनाना कठिन हो रहा था.

और तभी थॉमस ऐल्वा एडीसन (Thomas Edison) जिनको लोग पागल कहेते थे उन्होंने इसका सठिक परिणाम दिया और विद्युत् से रौशनी उत्पन करने में सफलता हाशिल किआ, किन्तु तब भी यह बल्ब को केवल कुछ ही समय केलिए उपयोग किया जा सकता था उसके बाद वो खाराप हो जाता था.

उश्के बाद जेसे जेसे दुनिया उन्नति के और बाधा हमारे उपकरणों में भी बदलाव आने लगा और हर उपकरण को उन्नत करने केलिए कई सारे लोग लग पड़े और आखिर में एक अंतिम परिणाम निकल कर बहार आया जिसे अब अनेक दिनों तक उपयोग किआ जा सकता तथा.

अगर इस बात को गेहेराई से समझें तो थॉमस ऐल्वा एडीसन (Thomas Edison) बल्ब का असली निर्माता नही है और है भी, कुछ लोग इसे मानते है और कुछ लोग जिन्हें इतिहाश पता है वो सचाई को जानते है, किन्तु हम यह कह सकते है की बल्ब का आविष्कार करने में सबसे अधिक योगदान थॉमस ऐल्वा एडीसन (Thomas Edison)n का ही है और येही बल्ब का पहेला निर्माता है जिनके कारण आज आप सभी रौशनी का आनंद उठा पाते है.

सबसे पहले बल्ब का आविष्कार किसने किया

यूँ तो सब जानते है की बल्ब का अबिष्कार थॉमस अल्वा एडिसन ने किआ था किन्तु सबसे पहेले इसकी रचना English Chemist Humphrey Davy के बिचार में आया था और यही बल्ब का पहेला खोज करता है किन्तु निर्माता नही है.

बल्ब का आविष्कार कब हुआ?

बल्ब का अबिष्कार 1879 हुआ था.

बल्ब का चित्र

बल्ब का आविष्कार किसने किया
बल्ब का आविष्कार किसने किया

एलईडी बल्ब का आविष्कार किसने किया

जहाँ बात हो रही है बल्ब की तो एलईडी बल्ब को हम केसे पीछे छोड़ सकते है, अगर आप नही जानते है की एलईडी बल्ब का आविष्कार किसने किया था, तो इसका उत्तर है एलईडी बल्ब की खोज ब्रिटिश के महान वैज्ञानिक H J Round ने मार्कोनी लैब्रोटरी में १९०७ में किया था।

परन्तु यह तब उतना प्रभावशाली नही था और इससे उतना रौशनी उत्पन नही होती थी जिससे हम किसी कार्य को संपन कर सकें यानि की एलईडी बल्ब का रौशनी इतना कम था की उससे कुछ भी दिखाई नही देता था, इसलिए इसे केवल एक इलेक्ट्रॉनिक्स पार्ट्स के रूप में उपयोग किआ जाता था जो किसी कंप्यूटर या किसी और उपकरण में इंडिकेटर के रूप में दीखता था, बाद में जाकर इसको उन्नति के और खीच लिया गया और आज के समय में हर रौशनी देने वाली उपकरण में एलईडी बल्ब का उपयोग किआ जाता है.

निष्कर्ष:

आजके इस लेख में हमने जाना की Bulb ka avishkar kisne kiya tha और इसके पीछे छिपा कुछ रोचक तथ्य को भि हमने जाना, साथ ही इतिहास में दर्ज हुए कुछ बातें जिनको जादातर लोग ध्यान नही देते है उसके बारे में भी जानने की प्रयास किआ, किन्तु फिर भी अगर आपको हमारे इस लेख से कोई समाश्या है तो आप हमें बता सकते है.

अगर आपके मन में कोई अबश्यक प्रश्न है तो भी आप हमसे संपर्क कर सकते है, हम आपके समय का मूल्य समझते है इसलिए आप तक जल्द से जल्द पहुँचने का प्रयाश करेंगे, और अगर आपको यह लेख पसंद आया है तो इसे ओरों के साथ साझा करना न भूलें, इति आपके सबा में गाइड क्लास लेखक विस्वनाथ धिन्दा

Leave a Comment